धरना प्रदर्शन के बाद शिक्षकों ने ग्यारह सूत्रीय मांगों का ज्ञापन सौपा जिलाधिकारी को
बलिया। जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय पर उप्र माध्यमिक शिक्षक संघ 'चेतनारायन गुट' का एकदिवसीय धरना शुक्रवार को अध्यक्ष ओमप्रकाश सिंह के नेतृत्व में किया गया। धरने को संबोधित करते हुए प्रांतीय उपाध्यक्ष केपी सिंह ने कहा कि सरकार माध्यमिक शिक्षा चयन बोर्ड को भंग कर प्रदेश में प्राथमिक से लेकर उच्च शिक्षकों के चयन के लिए एक शिक्षा चयन बोर्ड का जब प्रदेश में शिक्षकों के लिए तीन चयन बोर्ड काम कर रहे थे तो प्रदेश में शिक्षकों के चालीस प्रतिशत पद रिक्त पड़े हुए हैं। अब सभी शिक्षकों के लिए एक चयन बोर्ड होने से शिक्षकों के पद खाली ही रह जाएंगे। जिससे ज्ञात हो रहा है कि नियमावली को भी संशोधित कर शिक्षकों की सेवा नियमावली से खिलवाड़ किया जा रहा है। विगत 09 मार्च को मूल्यांकन बहिष्कार के बाद जिन बिन्दुओं पर सरकार से समझौता हुआ था। उन सभी मांगों पर कोई शासनादेश आज तक निर्गत नहीं किया गया है। पूर्व अध्यक्ष अश्विनी कुमार तिवारी ने कहा कि जनपदीय समस्याओं के कारण में कार्यालय द्वारा की जा रही लापरवाही से शिक्षकों में आक्रोश व्याप्त है। धरना के बाद शिक्षकों ने प्रदर्शन करते हुए अपनी ग्यारह सूत्रीय मांगों का ज्ञापन जिलाधिकारी के द्वारा मुख्यमंत्री को प्रेषित किया। साथ ही कहा कि यदि सरकार ने हमारी मांगों को नहीं माना तो सात फरवरी को शिक्षा निदेशक कार्यालय लखनऊ पर धरना प्रदर्शन किया जाएगा। इस दौरान कृपा शंकर सिंह, जयंत सिंह, रमाशंकर सिंह, पारसनाथ सिंह, अरविंद कुमार शुक्ल, आनन्द मोहन सिंह, डॉ. आत्मा नंद सिंह, निलेश उपाध्याय, चन्द्रप्रकाश पाण्डेय आदि रहें। अध्यक्षता आनन्द शंकर सिंह एवं संचालन अरून सिंह ने किया।
रिपोर्ट : धीरज सिंह
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