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विश्वविद्यालय स्थनांतरण की कोशिश दुर्भाग्यपूर्ण : नेता प्रतिपक्ष



रिपोर्ट : धीरज सिंह

बलिया। जन नायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय को बसन्तपुर से स्थनांतरित करने की मंशा को देखते हुए बिपक्ष भी इस मुददे पर आक्रामक होता जा रहा है और किसी भी परिस्थिति में विश्वविद्यालय को बसन्तपुर में ही विकसित कराने के लिये तत्पर है ।

      समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता और विधान सभा मे बिपक्ष के नेता रामगोविन्द चौधरी ने विश्वविद्यालय स्थनांतरण के कोशिश को दुर्भाग्यपूर्ण बताया और कहा कि समाजवादी पार्टी सरकार में हम लोगो के सुझाव को स्वीकारते हुए तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बलिया के विकास हेतु देश के प्रथम समाजवादी प्रधानमंत्री स्व. चंद्रशेखर जी के नाम पर विश्वविद्यालय की मंजूरी दिया और स्वयं आकर उसकी स्थापना भी किये। बसन्तपुर शाहिद स्मारक के स्थान का चयन बहुत ही विचार विमर्श के बाद किया गया क्योंकि उस स्थान को स्वयं चंद्रशेखर जी ने संवारा एवं सजाया था  उस स्थान पर विश्विद्याल होने से चंद्रशेखर जी की स्मृतियस सजीव रहेगी उसके द्वारा स्थापित शाहिद स्मारक स्थल का उपयोग विश्वविद्याल के लिए हो इससे बेहतर कुछ भी नही हो सकता।

      रामगोविन्द चौधरी ने कहा कि महान पदयात्री  स्व. चंद्रशेखर जी मेरे राजनीतिक गुरु रहे है उनके नाम पर स्थापित संस्था को विकास विरोधी वर्तमान सत्ता मिटाना चाहती है हम किसी भी कीमत पर विश्वविद्यालय स्थनांतरित नही होने देंगें इसकी लड़ाई सदन से सड़क तक लड़ी जाएगी। सरकार से सीधे शब्दों में एक निवेदन भी कि आप जन नायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय को इन 4 वर्षों में एक पैसा या एक भी नई मान्यता नही दिए और हटाने की बात सुरु कर दिए  अगर थोड़ी भी नैतिकता आप के अन्दर होती तो आप पहले उसका विकास करते तब कोई और बात कहते ।

      नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि बलिया समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता इस लड़ाई को मजबूती से लड़ेंगे इसके संबंध में जिला पार्टी के प्रमुख लोगो से मेरी बात हुई है। उसी के तारतम्य में सपा कार्यकर्ता 22 मार्च को जिलाधिकारी के माध्य्म से महामहिम राज्यपाल को संबोधित पत्रक देंगे। मैं स्वंय इस संबंध मर माहामाहिम से भी मिल कर बात करूंगा।

    चौधरी ने कहा कि पहले से स्थापित परिसर को विकसित किये बिना दूसरे परिसर को विकसित करने की बात करना हास्यास्पद है सरकार पहले शहिद स्मारक बसन्तपुर के परिसर को विकशित करे उसके बाद आगे की बात कहे अन्यथा विश्वविद्यालय स्थनांतरित करने वाली सत्ता को बलिया के लोग सत्ता से स्थनांतरित कर देंगें।

     

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