पति की सेवा ही नारी धर्म : श्रीरामजी दास महाराज
रसड़ा,बलिया । उत्तर प्रदेश के बलिया जनपद के रसड़ा तहसील क्षेत्र के लखनेश्वरडीह स्थित श्रीहरि विष्णु मंदिर प्रांगण में श्री तुलसी-शालिग्राम विवाह महोत्सव का भव्य आयोजन किया गया है। इस दौरान सायं काल में श्री सीताराम कथा चल रहा है।
जिसमें बिहार से आए बक्सर निवासी कथावाचक श्रीरामजी दास महाराज ने गृहस्थ जीवन में पत्नियों के द्वारा घर में पति की बातों पर विश्वास नहीं करने पर घर में कलह अशांति के साथ ही उसके विनाश होने की बात कही।
उन्होंने भगवान भोलेनाथ की पत्नी सती की कथा का स्मरण कराते हुए श्रद्धालुओं को बताया कि अपने पति की बातों को अनसुना करने के कारण ही सती को पश्चाताप की अग्नि में जल जाना पड़ा। श्री महाराज ने कहा कि संसार में पति पत्नी गाड़ी के दो पहिया के समान है।
आपस में सोच और विवेक के साथ विश्वास ही संसार सागर से आसानी से पार करा सकता है। श्रीरामजी दास महाराज ने भगवान भोलेनाथ के विवाह कथा का वर्णन करते हुए बताया कि शिव विवाह संसार का सर्वप्रथम विवाह है। जिसे सभी को शिक्षाप्रद ज्ञान लेना चाहिए कि माता मैना विदाई में मां पार्वती को शिक्षा देकर विदा करती हैं।
माता मैना ने कहा कि नारी का धर्म सर्वश्रेष्ठ है, पति की सेवा नारी के लिए पति भगवान और पति के लिए पत्नी भक्त होती है। कथा के अंत में भव्य आरती के साथ श्रद्धालुओं में प्रसाद का वितरण किया गया। कथा के संयोजक मंदिर के पुजारी श्री दीनदयाल दास जी महाराज ने सभी ग्रामीणों के प्रति आभार प्रकट किया।
रिपोर्ट : पिन्टू सिंह
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